Monday, December 10, 2018

Gangotri Goumukh Yatra-7/ पुष्कर सरोवर और सांवरिया सेठ के दर्शनों के साथ घर वापसी

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दसवां दिन

14 सितम्बर 2018 शुक्रवार (सुबह 7.30)
अतिथी होटल (हरिद्वार-दिल्ली हाईवे)

सभी उठ चुके है। विचार है कि यहां से साढे आठ तक निकल चलें। आज दिल्ली से होते हुए शाम तक अजमेर पंहुच जाएं,ताकि पुष्कर के दर्शन करके फिर रतलाम की ओर बढ सकें। इस समय सभी लोग निकलने की तैयारी में है।

Gangotri Goumukh Yatra 6-गंगा आरती का आनन्द,वशिष्ठ गुफा और नीलकण्ठ महादेव के दर्शन

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12/13सितम्बर 2018 गुरुवार (रात 12.30)

होटल शिवान्त ऋषिकेश

वैसे तो तारीख बदल चुकी है,इसीलिए मैने 13 सितम्बर लिखा है,वरना दिन तो आज का ही है। सुबह हम
भागीरथीपुरम में सब्जी पराठे का शानदार नाश्ता करके निकले। निकले तो सीआईएसएफ के विजय भान सिंह को फोन किया। वीबी सिंह हमसे मिलने भी आ गए। उनसे फिर मुलाकात हुई। नम्बरों का आदान प्रदान कल ही हो गया था। यहां से ऋषिकेश के लिए रवाना हुए। रास्ते में जगह जगह चार धाम परियोजना का काम चल रहा है। पीएम नरेन्द्र मोदी ने चारों धामों के रास्ते फोरलेन बनाने की घोषणा की है। जगह जगह पहाड को काटने के लिए मशीनें लगी हुई है। इस वजह से कई जगह रुकना पडता है।

Gangotri Goumukh Yatra 5/ इंजीनियरिंग का करिश्मा-पहाड के आठ सौ मीटर नीचे टिहरी डैम

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11 सितम्बर 2018 मंगलवार/रात 11.10

टीएचडीसी रेस्ट हाउस,भागीरथीपुरम न्यू टिहरी

सुबह दस बजे जब ग्रेट गंगा होटल से चले थे,तो यह इच्छा लेकर चले थे कि टिहरी डैम देख लें। ग्रेट गंगा होटल
के मैनेजर से बिल का पूछा तो बाईस सौ का बिल लाया। फिर बोला आप दो हजार दे दो। आखिरकार पन्द्रह सौ पर मामला सैट हुआ। वहां से निकले। नाश्ता करना था। धारासू बैण्ड से कुछ पहले डूण्डा नामक स्थान पर साढे गायरह बजे आलू पराठे मिल पाए। वहां नाश्ता या भोजन जो भी कहिए,किया। अब आगे चले। हमारी मंजिल थी न्यू टिहरी। आईजी गुंजियाल सा.का नेटवर्क,मोबाइल के नेटवर्क से ज्यादा तेज चल रहा था। सुबह जब निकले तो सीधे उत्तरकाशी में काशी विश्वनाथ के दर्शन करने पंहुचे।

Gangotri-Goumukh Yatra-4 जानलेवा खतरों से भरा वापसी का सफर

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छठां दिन

10 सितम्बर 2018 (सोमवार) दोपहर 2.35
होटल शिव गंगा पैलेस गंगौत्री धाम


गौमुख का ट्रैक पूरा करके हम करीब डेढ बजे होटल में पंहुचे। इस समय,दशरथ जी,अनिल जी और प्रकाश जी गंगौत्री में डुबकी लगाने के लिए गए हुए हैं। मैं अकेला होटल में हूं। मैने गंगौत्री के ठण्डे पानी में स्नान करने से साफ इंकार कर दिया। पिछले तीन दिनों से मुंह तक नहीं धोया है। इसलिए यहां आते ही गर्म पानी मंगवाया। शेविंग की और स्नान किया। अब डायरी के साथ हूं। इस समय शरीर का पोर पोर दुख रहा है। पैरों की हालत बेहद खराब है। घुटने जांघे,पिण्डलिया,सब कुछ दर्द कर रहे हैं। इसके साथ ही बायें पैर का पंजा बुरी तरह दुख रहा है। पैर उठने को राजी ही नहीं है। लेकिन हमने तय किया था कि आज गंगौत्री से निकल कर जितना भी आगे जा सकेंगे,वहां जाएंगे और रात्रि विश्राम करेंगे।

Sunday, December 9, 2018

Gangotri-Goumukh Yatra-3 /ग्लैशियर के रास्ते पर मौत से सामना

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पांचवां दिन

9 सितम्बर 2018 रविवार/सुबह 10.05

गौमुख ग्लैशियर झण्डा
हम गौमुख ग्लैशियर के नजदीक तक गए। मेरी बाई ओर की पहाडी पर चलते हुए गौमुख ग्लैशियर के सामने पंहुचा जाता है।  झण्डों से आगे का रास्ता बडे बडे पत्थरों पर से होकर है।  इन पत्थरों पर काफी देर चलने के बाद बाई पहाडी में लैण्ड स्लाइडिंग की जगह से बेहद खतरनाक रास्ते से उपर चढना पडता है। इस रास्ते पर एक
स्थान पर केवल एक पैर ही टिकाया जा सकता है। दाहिनी ओर नीचे,भागीरथी प्रचण्ड वेग से शोर मचाती हुई बह रही है। यह रास्ता कच्चे भुरभुरे पहाड पर है,जिसका सहारा भी नहीं लिया जा सकता। केवल एक ही पैर टिकाने की जगह है। यह रास्ता देखकर ही मैं घबरा गया।

Gangotri-Goumukh Yatra-2/ कनखू,चीडबासा से भोजवासा तक कठिनाईयों का सफर

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8 सितम्बर 2018 शनिवार/ शाम पांच बजे
जीएमवीएन गेस्ट हाउस,भोजवासा (गौमुख मार्ग)

चौदह किमी का बेहद कठिनाईभरा ट्रैक पूरा करके हम शाम करीब साढे चार बजे भोजवासा पंहुचे। सभी की सभी की हालत बेहद खराब हो चुकी है। इस वक्त सभी लोग जीएमवीएन(गढवाल मण्डल विकास निगम) के रेस्ट हाउस में बिस्तरों के हवाले है। अभी अभी गर्मागर्म चाय पी है। सभी की हालत ऐसी है कि कोई भी बिस्तर से हिलना तक नहीं चाहता है।

Gangotri Goumukh Yatra 1/भागीरथ का तपस्या स्थल और भागीरथी का उद्गम स्थल गंगौत्री

(यात्रा वृत्तान्त-28/ गंगौत्री गौमुख यात्रा 05 सितम्बर 2018 से)

सडक़ का सफर,दिल्ली से बचकर

पहला दिन
05 सितम्बर 2018 (बुधवार) रात 8.45
होटल राम पैलेस पावटा (जयपुर से 80 किमी आगे)


3 महीने और आठ दिन बाद,फिर से नई यात्रा पर। इस बार हमारा लक्ष्य है,गंगौत्री से उपर गौमुख ग्लैशियर और तपोवन तक ट्रैकिंग करने का। हमारी यह यात्रा आज सुबह साढे नौ बजे रतलाम से शुरु हुई। रतलाम से मेरे साथ दशरथ जी पाटीदार और प्रकाश राव पंवार,दशरथ जी की नई मारुति ब्रिजा से निकले और सैलाना से हमने अनिल मेहता को साथ लिया। रतलाम से छ: सौ किमी चल कर जयपुर से करीब अस्सी किमी आगे दिल्ली हाई वे के इस होटल राम पैलेस में हम रुके हैं। यह स्थान पावटा कहलाता है।

Wednesday, August 8, 2018

भाजपा को भारी पड सकते है मूल मुद्दों से जुडे सवाल

-तुषार कोठारी

2019 के लोकसभा चुनाव को लेकर चर्चाओं का दौर शुरु हो चुका है और देश के अधिकांश राजनैतिक विश्लेषक यह मानकर चल रहे है कि नरेन्द्र मोदी का दोबारा प्रधानमंत्री बनना तय है। मतभिन्नता है तो सीटों की संख्या और एनडीए के घटक दलों को लेकर है। लेकिन अधिकांश लोगों का मानना है कि नरेन्द्र मोदी ही अगले प्रधानमंत्री होंगे। भाजपा के रणनीतिकारों का भी यही मानना है।

Wednesday, May 2, 2018

Tripura Mizoram Journey-11(Last)


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स्वामी विवेकानन्द के वेलूड मठ में

10 मार्च 2018 शनिवार (सुबह 7.40)

नई दिल्ली रेलवे रिटायरिंग रुम,अजमेरी गेट

बीती रात बहुत देर हो गई थी। नींद आने लगी थी। अभी उठने में भी देरी हो गई है। हमें हजरत निजामुद्दीन से गाडी पकडना है। यहां से आठ बजे निकलने का टार्गेट है। देखते है क्या होता है?
बहरहाल,हम वेलूड मठ में थे। वेलूड मठ,स्वामी विवेकानन्द यहीं से बने और यहीं उन्होने अंतिम सांस ली। अब यह बहुत बडा परिसर है। रामकृष्ण मिशन का मुख्यालय भी यहीं है। वेलूड मठ पंहुचे। भीतर प्रवेश करते ही बाई ओर श्री रामकृष्ण और रामकृष्ण मिशन को दर्शाने वाली प्रदर्शनी है। यहां पांच रु.टिकट है। टिकट लेकर भीतर गए। रामकृष्ण परमहंस,सारदा मां,स्वामी विवेकानन्द  और आरके मिशन के अन्यान्य संतों के जीवन से जुडी तमाम वस्तुओं का यहां प्रदर्शन किया गया है।

Tripura Mizoram Journey-10

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जय काली कलकत्ते वाली के दरबार में

9 मार्च 2018 शुक्रवार (रात 2.00 बजे)

नई दिल्ली वेटिंग रुम अजमेरी गेट

जब रतलाम में यात्रा का कार्यक्रम बनाया था तभी,अजमेरी गेट की तरफ के रेलवे रिटायरिंग रुम में दो एसी कमरे आनलाईन बुक करवा लिए थे। हांलाकि हमारे कमरे में एसी काम नहीं कर रहा है,गीजर भी बडी मुश्किल सेचालू हुआष खैर सुबह आठ बजे यहां से निकल जाना है।
कहानी को वहां ले जाता हूं जहां छोडी थी।

Tuesday, April 24, 2018

Tripura Mizoram Journey-9

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अलविदा आईजॉल..........

8 मार्च 2018  गुरुवार(सुबह6.27)

स्टेट गेस्ट हाउस आईजोल

यात्रा का आज अंतिम दिन है। रात तक हम फिर से दिल्ली में होंगे और कल शाम तक रतलाम में। पूर्वोत्तर को पूरा देख लेने की इच्छा अब पूरी हो चुकी है। सेवन सिस्टर के नाम से प्रसिध्द पूर्वोत्तर या उत्तर पूर्व (नार्थ-ईस्ट) के सातों राज्यों को देखने के लिए यह चौथा पेरा है।

Sunday, April 22, 2018

Tripura Mizoram Journey-8


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आईजॉल की उंचाई,रैएक टॉप पर

7 मार्च 2018 बुधवार (सुबह 9.00)

स्टेट गेस्ट हाउस आईजोल

नाश्ते की टेबल पर आलू पराठों के इंतजार में डायरी लिख रहा हूं। अब कुछ बातें मिजोरम के बारे में। मिजोरम पिछले करीब डेढ सौ सालों से मिशनरीज के प्रभाव में आते आते पूरी तरह ईसाई राज्य बन गया है। मिजो भाषा के लिए रोमन लिपि को ही अपना लिया गया है। बीती रात से पिछली रात हम सिलचर में भी मिजोरम के गेस्ट हाउस में ही थे। बडी बात यह थी कि सिलचर के सर्किट हाउस के प्रत्येक कमरे में बाईबिल रखी हुई थी।

Thursday, April 19, 2018

Tripura Mizoram Journey-7

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अगरतला से आईजोल-मुसीबतों का सफर


6 मार्च 2018 मंगलवार (सुबह 9.00)

रोड किंग सूमो सर्विस सिलचर

फिलहाल हम रोडकिंग सूमो सर्विस के आफिस में बैठे है। सामने वह सूमो गाडी खडी है,जिसमें हमें आईजोल जाना है। हमारा सामान सूमो पर लादा जा चुका है।
कल सुबह से शुरु हुई विचित्रताएं आधी रात तक जारी रही। रेलवे वालों की मदद से हम राजधानी ट्रेन में सवार होकर रात पौने ग्यारह बजे बदरपुर पंहुच गए। राजधानी का सफर था इसलिए पता ही नहीं चला कि कब
बदरपुर पंहुच गए। हमारे साथ बीएसएफ के दो कर्मचारी भी थे,जिन्हे सिलचर ही जाना था। अब हम कुल छ: लोग थे।

Monday, April 16, 2018

Tripura Mizoram Journey-6

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पहले प्लेन छूटा,अब ट्रेन.......

5 मार्च 2018 सोमवार (दोपहर 1.50)

अगरतला रेलवे स्टेशन,अगरतला

यह यात्रा विचित्रिताओं से भरी हुई है। इस समय हमें अगरतला सिलचर पैसेंजर में होना था,लेकिन हम अगरतला रेलवे स्टेशन के वीआईपी लाउंज में बैठे हुए है।
इस यात्रा क िवचित्रिताओं रतलाम से ही शुरु हो गई थी। रतलाम में ट्रेन छूटते छूटते बची थी। दौडते हुए ट्रेन
पकडी थी। अगली सुबह यानी 28 फरवरी को पहले तो एयरपोर्ट मैट्रो में बैग छूट गया था। वह बैग मिला तो हमारी अगरतला की फ्लाईट छूट गई थी। इसी दिन शाम को संतोष जी का मोबाइल चोरी हो गया था। 1 मार्च को फ्लाईट पकड ली,लेकिन फिर कोलकाता में अगली फ्लाईट छूटते छूटते बची।

Thursday, April 12, 2018

Tripura Mizoram Journey-5

देवाधिदेव के विश्रामस्थल उनाकोटि में

4 मार्च 2018 रविवार (रात 10.00)

अगरतला सर्किट हाउस

आज का पूरा दिन करीब साढे तीन सौ किमी की यात्रा करके उनाकोटि की अद्भूत,आश्चर्यजनक मूर्तियां देखकर हम वापस लौट चुके हैं। आज त्रिपुरा की आखरी रात है। कल सुबह ग्यारह बजे हम ट्रेन से सिलचर के लिए रवाना हो जाएंगे। वहां से आईजॉल जाएंगे। इसवक्त हम भोजन कर चुके है।

अब आज की कहानी। कल शाम यह तय हुआ था कि सुबह साढे छ: बजे निकलेंगे। सुबह साढे छ: तो नहीं लेकिन सात बजे हम सभी लोग तैयार होकर डे दादा की गाडी में सवार हो गए।

Tuesday, April 10, 2018

Tripura Mizoram journey-4

नीरमहल का सौन्दर्य और बांग्ला बार्डर की फ्लैग सैरेमनी


3 मार्च 2018 शनिवार (दोपहर 3.10)

सर्किट हाउस अगरतला

आज की सुबह हम लोग साढे सात बजे तैयार होकर गाडी में बैठ गए थे। कल तक हमसें कहा जा रहा था कि मतगणना का दिन होने से आज के दिन हमें बाहर नहीं निकलना चाहिए। कल शाम आईबी एसपी दीक्षित जी ने भी कहा था कि हिंसा की आशंका हो सकती है। हमारा ड्राइवर भी यही कह रहा था,लेकिन हमने दबाव डाला तो वह आने को तैयार हो गया।

Monday, April 9, 2018

Tripura Mizoram Journey-3

 देवलोक के द्वार तक का सफर

02 मार्च 2018 शुक्रवार (रात 9.30)

रुम न. 1 सर्किट हाउस अगरतला (त्रिपुरा)

हम भोजन कर चुके हैं। अब हमें अपने कक्ष क्र.7 में जाकर सोना है। हमारा कक्ष उपरी मंजिल पर है। अनिल बाहर अपने घर पर बात कर रहा है। दशरथ जी और संतोष जी ताश खेल रहे हैं। इसी बाच अनिल भी कमरे में आ चुका है।
आज की सुबह साढे पर हम तैयार हो चुके थे।  सवा सात पर ड्राइवर बीएल डे का फोन आ चुका था। हम लोग साढे सात,सात चलीस तक तैयार हो चुके थे। बाहर निकले,गाडी आल्टो नहीं थी,बल्कि मारुति की ही इको थी।
हम गाडी में सवार हुए और चल पडे।

अयोध्या-3 /रामलला की अद्भुत श्रृंगार आरती

(प्रारम्भ से पढ़ने के लिए यहाँ क्लिक करे )  12 मार्च 2024 मंगलवार (रात्रि 9.45)  साबरमती एक्सप्रेस कोच न. ए-2-43   अयोध्या की यात्रा अब समाप्...